JDU राष्ट्रीय अध्यक्ष सह सांसद राजीव रंजन सिंह ‘‘ललन’’बिहार को विषेष राज्य के दर्जे की आवश्यकता है।
JDU राष्ट्रीय अध्यक्ष सह सांसद राजीव रंजन सिंह ‘‘ललन’’बिहार को विषेष राज्य के दर्जे की आवश्यकता है।
पटना : मीडिया द्वारा बिहार को विषेष राज्य के दर्जे पर किये गये सवाल का जवाब देते हुये पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह सांसद राजीव रंजन सिंह ‘‘ललन’’ ने कहा कि जहॉं तक बिहार को विषेष राज्य के दर्जे की बात है तो हम खिड़की और दरवाजा नहीं जानते हैं, लेकिन बिहार को विषेष राज्य के दर्जे की आवष्यकता है और इसकी मॉंग राज्य सरकार ने भी की है एवं बिहार सरकार के योजना एवं विकास विभाग के मंत्री ने विस्तृत पत्र भी लिखा है। अभी हाल-फिलहाल में नीति आयोग की जो रिपोर्ट आई है उसमें कई मापदण्डों पर बिहार को पिछड़ा माना गया है। मुख्यमंत्री ने भी यह मॉंग रखी है और हमलोगों की यह मॉंग बहुत पुरानी मॉंग है कि बिहार को विषेष राज्य का दर्जा मिलना चाहिए और हमलोग देष के आदरणीय प्रधानमंत्री से मॉंग कर रहे है कि बिहार को विषेष राज्य का दर्जा मिले। अगर बिहार को विषेष राज्य का दर्जा मिलेगा तो कई मामलों में तरक्की कर सकते हैं। आज हमारा जो विकास दर है वह अपने संसाधनों के बल पर है। बिहार को अभी जो आर्थिक सर्वेक्षण वित्त मंत्री ने लोकसभा में पेष किया उसमें भी बताया गया कि वैष्विक महामारी कोरोना के बावजूद बिहार के पड़ोसी राज्यों का प्रति व्यक्ति वार्षिक आय घटा। लेकिन बिहार में प्रति व्यक्ति वार्षिक आय 1221 रूपये बढ़ा। बिहार तो विकास कर रहा है लेकिन यह माननीय मुख्यमंत्री के कुषल नेतृत्व में बेहतर वित्तिय प्रबंधन के चलते और सुषासन के कारण। अब आज जो हमारी पूरी अर्थव्यवस्था है वह कृषि पर आधारित है। अगर बिहार को विषेष राज्य का दर्जा मिलेगा तो हम उद्योग के क्षेत्र में हम विकसित हो सकते हैं, नये उद्योग-धंधे स्थापित होंगे। उद्योग धंधे जब स्थापित होंगे तो स्वभाविक तौर पर नौजवानों को युवाओं को रोजगार मिलेगा।
आज आपने देखा कि केन्द्र की सरकार ने एक छूट दिया कि बिना चीनी के उत्पादन के आप इथनॉल का उत्पादन नहीं कर सकते। अब बिहार को उन्होंने जितना दिया, बिहार में डीजल-पेट्रोल का जितना खपत है उसका आंकलन करके दिया कि बिहार में इथनॉल का इतना उत्पादन कर सकते हैं और केन्द्र सरकार ने जितना दिया उसकार तीन गुणा प्रस्ताव है। तो बिहार के लोग उद्योग लगाने के लिए छटपटा रहे हैं। समृद्ध तो हैं ही लेकिन उद्योग लगाने की छटपटाहट में हैं। हमको कहीं अगर रास्ता दिखता है तो लोग यहॉं उद्योग लगाना चाहते हैं। अब अगर विषेष राज्य का दर्जा मिलेगा तो इन्कम टैक्स में छूट मिलता है, जीएसटी में राज्य की हिस्सेदारी बढ़ती है, जो औद्योगिक उत्पादन होगा उसका लागत मूल्य कम होगा और जब लागत मूल्य कम होगा तो देष के बाजार में, प्रतिष्पर्द्धा में आ सकते हैं। आज नहीं लग रहा है उसका क्या कारण है। हमारे बिहार में श्रम जो देष में सबसे ज्यादा सस्ता है लेकिन अन्य जो इन्फ्रास्ट्रकचर नहीं है, हमारे यहॉं पोर्ट नहीं है, हमारे यहॉं ट्रान्सपोर्टेसन की सुविधा नहीं है। अगर कोई यहॉं उत्पादन करेगा और उसको बम्बई के गुजरात के बाजारों में ले जायेगा तो उसका लागत मूल्य बढ़ जायेगा और तब वह बाजार में अन्य प्रोडक्टस के साथ कम्पलीट नहीं कर पायेगा। इसलिए हम विषेष राज्य के दर्जे की मॉंग कर रहे हैं कि हमको विषेष राज्य का दर्जा मिल जायेगा तो हमें कई मामलों में खुला वातावरण मिल जायेगा। बिहार में उद्योग स्थापित होंगे और बिहार एक औद्योगिक, उत्पादक केन्द्र बनेगा।
मीडिया बन्धुओं के सवालों का जवाब देते हुये कहा कि हम एक व्यक्ति पर नहीं जाते है, यह उनकी राय हो सकती है, लेकिन पार्टी की जो राय है वह साफ है, मुख्यमंत्री नीतीष कुमार की जो राय है वह बहुत साफ है, राज्य सरकार की जो मॉंग है वह बहुत साफ है।
वहीं पार्टी में कन्फयूजन के सवाल पर उन्होंने कहा कि अब कोई कन्फयूजन नहीं है पार्टी के नेता है नीतीष कुमार जी वह जो बोलेंगे पार्टी के पदाधिकारी वही न जानेंगे। कोई कुछ बोल दे, हम ही कुछ बोल दें तो उसका कोई मतलब थोड़े ही है। इसलिए हमने आपको बताया कि मुख्यमंत्री ने इस मॉंग को रखा है, राज्य की सरकार ने पत्र लिखा है। सारी परिस्थिति को देखते हुये और पार्टी का यह साफ स्टैण्ड है।
छात्रों द्वारा लगाये गये नारे के बारे में उन्होंने कहा कि हम सरस्वती पूजा में गये थे तो किसी लड़के ने ऐसा नारा लगाया था, लेकिन ये सारी बातें उसी के दिमाग में आयेगी जिसका मानसिक संतुलन खराब होगा और मेरा मानसिक संतुलन अभी खराब नहीं हुआ है। मेरा मानसिक संतुलन सही है। पार्टी में नीतीष कुमार हम सबों के नेता हैं और हमसब लोग सुबह से शाम तक जो काम करते हैं वह अपने नेता को मजबूत करने के लिए करते हैं। इस तरह का किसी के मन के अन्दर है या सपना में भी सोंचता है, यह वही सोंच सकता है जिसका मानसिक संतुलन सही नहीं है और मेरा मानसिक संतुलन सही है।
प्रधानमंत्री द्वारा मुख्यमंत्री की तारीफ किये जाने के सवाल पर जवाब देते हुये कहा कि दोनों दलों में कोई विवाद नहीं है यह विवाद बनाया गया है। हम सब और हमारी पार्टी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन में हैं। देष के प्रधानमंत्री आदरणीय नरेन्द्र मोदी जी हैं और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीष कुमार जी हैं। केन्द्र की सरकार काम कर रही है, बिहार की सरकार काम कर रही है और हम देष के प्रधानमंत्री से कोई मॉंग कर रहे हैं तो उसको विवाद मानना ही नहीं चाहिए। विषेष राज्य का दर्जा बिहार का हक है और बिहार का हक अगर हम बिहार का हक नहीं मॉंगेंगे तो बिहार के प्रति हम न्याय नहीं कर रहे हैं। हम बिहार में राजनीत कर रहे हैं, बिहार में हम सरकार चला रहे हैं और बिहार के हक की मॉंग हम नहीं रखते है तो वह गलत है। यह मॉंग किसी और से तो है नहीं यह मॉंग देष के प्रधानमंत्री, आदरणीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से हमारी मॉंग है और यह हमारा हक है। देष के हर नागरिक को यह हक है अपने प्रधानमंत्री जी के पास अपने हित की मॉंग रखे।