बीएसएफ के एएसआई सीताराम कोड़ा की अंतिम यात्रा में उमड़ा सैलाब
विधायक और अनुमंडल के वरीय पदाधिकारी अंतिम संस्कार में रहे मौजूद

हवेली खड़गपुर :- जम्मू के पूंछ में पदस्थापित बीएसएफ के एएसआई सीताराम कोड़ा की हार्ट अटैक से हुई मौत के बाद देर रात उनका पार्थिव शरीर प्रखंड के रमनकाबाद पश्चिम पंचायत के जटातरी गांव पहुंचा। बीएसएफ के एएसआई का पार्थिव शरीर जब बीएसएफ के पदाधिकारी और जवानों के साथ सुसज्जित वाहन के जटातरी गांव पहुंचा, पूरा माहौल गमगीन हो गया। पत्नी और तीन बेटों सहित परिजन और गांव के लोगों की चीख पुकार से पूरा माहौल गमगीन हो गया। गांव के युवा शहीद सीताराम कोड़ा अमर रहे, जब तक सूरज चांद रहेगा सीताराम तेरा नाम रहेगा के जयघोष व नारे लगा रहे थे।
सोमवार की सुबह ग्रामीणों ने तिरंगा शोभा यात्रा निकालकर पूरे गांव और नगर क्षेत्र का भ्रमण किया। सैंकड़ों मोटरसाइकिल पर सवार युवा और ग्रामीणों का समूह नगर के अम्बेडकर चौक, एकता पार्क से होकर खड़गपुर थाना पहुंचा। वहीं शहीद बीएसएफ जवान का पार्थिव शरीर लदा वाहन जब खड़गपुर थाना पहुंचा जहां विधायक राजीव कुमार सिंह, एसडीओ आदित्य कुमार झा और थानाध्यक्ष नीरज कुमार ने श्रद्धांजलि दी। वहीं जटातरी गांव में शहीद सीताराम कोड़ा का अंतिम संस्कार किया गया।
इस दौरान शहीद सीताराम कोड़ा अमर रहे, भारत माता की जय की जयघोष से पूरा गांव गुंजयमान नजर आया। अंतिम संस्कार में विधायक राजीव कुमार सिंह, एसडीओ आदित्य कुमार झा, इंस्पेक्टर रामानुज सिंह, सीओ संतोष कुमार, बीडीओ सत्यनारायण पंडित और थानाध्यक्ष नीरज कुमार, मुखिया छोटेलाल प्रसाद, सरपंच हरिमोहन तुरी ने शहीद सीताराम कोड़ा के तिरंगा में लिपटे पार्थिव शरीर पर प्रोटोकॉल के तहत माल्यार्पण कर अंतिम विदाई व श्रद्धांजलि दी। वहीं सम्मान भाव के साथ हवाई फायरिंग के माध्यम सलामी व अंतिम विदाई दी गई।
इस मौके पर बिपिन खिरहरी, रेखा सिंह चौहान ,मनोज कुमार रघु, सुजीत कुमार मुन्ना आदि समेत अनेक ग्रामीण शहीद बीएसएफ एएसआई की अंतिम विदाई और अंतिम संस्कार में मौजूद थे। गौरतलब है कि जटातरी गांव निवासी स्व. भोला कोड़ा का 55 वर्षीय पुत्र सीताराम कोड़ा जम्मू में बीएसएफ एएसआई के रूप में पदस्थापित थे। एक महीना पूर्व ही उनका कोलकाता से जम्मू स्थानांतरण हुआ था। जहां दिल का दौरा पड़ने से उनका निधन हो गया।
इनकी शादी राजसराय गांव में सुनीता देवी के साथ हुई थी। उन्हें तीन पुत्र कमलेश कुमार कोड़ा, ब्रजेश कुमार और सुशील कोड़ा है। ये तीनों फ़िलहाल पढाई कर रहे है। इधर शहीद सीताराम की पत्नी सुनीता देवी और तीनों पुत्र सहित परिजन गम में डूबे हुए है। गांव में भी मातम पसरा है।शहीद सीताराम तीन भाई है। जिनमे एक भाई खेती किसानी करते है जबकि एक भाई एसबीआई में थे जिनकी कुछ माह पूर्व ही हार्ट अटैक से ही मौत हो गई थी।